*सेंट्रल लाइब्रेरी बीजापुर को किया युवा कवियों ने 15 किताबे भेंट*,,,,,,,,,
,,,,,,,,,,,तेजनारायण सिंह की रिपोर्ट,,,,,,
बीजापुर,,,,,,
पिछले दिनों प्रदेश के मुखिया माननीय मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी के द्वारा जिला मुख्यालय बीजापुर में सेंट्रल लाइब्रेरी का उद्घाटन किया गया। सेंट्रल लाइब्रेरी जो जिले के विकास में एक प्रगतिमान सोपान के रुप में देखा जा रहा है उसका जिले के कवियों ने भ्रमण किया और वहां पर व्यवस्थाओं का जायजा लिया । बच्चों के पढ़ने के लिए सुविधाओं को देखा और बहुत सारे बिंदुओं पर अपने विचार लाइब्रेरियन को व्यक्त किया । बीजापुर के कवियों ने राजभाषा आयोग द्वारा प्रकाशित छत्तीसगढ़ी भाषा के 14 पुस्तकों को इस अवसर पर ग्रंथपाल को भेंट किया गया । भेंट किए गए पुस्तकों में लेखक दुर्गा प्रसाद पाटकर द्वारा लिखित निर्मला, डॉक्टर गीतेश कुमार अमरोहित द्वारा कौशल्या, धनेश्वरी सोनी की जिंदगी की किस्सा, अशोक पटेल आशु द्वारा छत्तीसगढ़ के चिन्हारी, अरविंद मिश्र की मया दाई के कहिनी, टिकेश्वर सिन्हा के गांव बसे हिरदे म छत्तीसगढ़ी गीत संग्रह, नवल दास मानिकपुरी की माया के गोठ,परमानंद वर्मा के गोंदा,कपिल नाथ कश्यप की मोर आत्मकथा, मुकेश कुमार की हाथ के लकीर, हितेश कुमार के पतंजलि योग सूत्र, श्रीमती सुधा वर्मा की इंद्रावती की बेटी, कृष्ण कुमार पाटिल के जय छत्तीसगढ़ दाई , रामनाथ साहू के सोन कमल कुल 14 छत्तीसगढ़ी भाषा की किताबों के साथ बीजापुर के कवि बीरा राजबाबू ‘प्रखर’द्वारा प्रकाशित काव्य संग्रह काव्यनाद को भी सेंट्रल लाइब्रेरी में भेंट किया गया। ग्रंथपाल चंदन मामदीकर से मुलाकात कर भविष्य में जनभागीदारी को सुनिश्चित करने पर विचार विमर्श किया गया। इस अवसर पर जिले के युवा कविगण बीरा राजबाबू ‘प्रखर’ डॉ. अमितेश तिवारी एवं जीवनलाल साहू मौजूद रहे।